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सोमवार, 17 अप्रैल 2023

माफिया ब्रदर अतीक-अशरफ की हत्या करने वाले शूटरों की बदली गयी जेल, नैनी सेन्ट्रल जेल से प्रतापगढ़ जेल में किया गया, शिफ्ट

तीनों शूटरों ने 44 सालों के अतीक के माफियाराज को 38 सेकेण्ड में ही खात्मा कर खूंखार अपराधियों की सूची में दर्ज कराया नाम... 

किनारे से शूटर अरुण मौर्या, बीच में सनी सिंह और सबसे लास्ट में लवलेश तिवारी...

प्रयागराज। माफिया अतीक अहमद और उसके भाई अशरफ की हत्या करने वाले शूटर लवलेश तिवारी, शनि सिंह उर्फ मोहित और अरुण कुमार मौर्या को नैनी सेंट्रल जेल से प्रतापगढ़ जिला जेल में शिफ्ट किया गया है। तीनों शूटरों को 14 दिनों की न्यायिक हिरासत में भेजा गया है। सूत्रों के मुताबिक सुरक्षा कारणों की वजह से तीनों शूटरों की जेल बदली गई है। बरहाल इससे पहले जब तीनों शूटरों को नैनी जेल लाया गया तो जेल प्रशासन ने इनको सुरक्षित कैसे रखा जाए। इसके लिए घंटों बैठक कर कार्ययोजना तैयार की थी। इसके बाद भी तीनों शूटरों को शिफ्ट करना ही बेहतर समझा गया।

नैनी सेंट्रल जेल के अंदर बनी तन्हाई बैरक में तीनों शूटरों को रखा गया था। तीनों शूटरों की सुरक्षा को लेकर बॉडीबार्न कैमरे और अन्य बंदी रक्षकों को लगाया गया था। तन्हाई बैरक जेल के एक कोने में बनी है और उसमें किसी को भी प्रवेश नहीं दिया जाता है। नैनी जेल के अंदर माफिया अतीक अहमद के बेटे अली के साथ समर्थक और गुर्गों में अतीक और अशरफ की हत्या के बाद से आक्रोश है। वह शूटरों को नुकसान पहुंचने का पूरा प्रयास करेंगे। इस बात की आशंका हमेशा बनी हुई थी। इसलिए तीनों शूटरों को प्रतापगढ़ जेल में शिफ्ट किया गया है। 


प्रतापगढ़ जिला कारागार में जब माफिया ब्रदर के तीनों शूटर पहुँच गए तब जाकर मीडिया को भनक लगी। अपराध जगत से जुड़े लोगों का मानना है कि माफिया अतीक का सम्बन्ध प्रतापगढ़ में भी रहा है और उनके चाहने वाले जो मुस्लिम वर्ग से अपराधी प्रतापगढ़ के जिला कारागार में बंद हैं, उनसे भी उन तीनों शूटरों को नुकसान पहुँचाया जा सकता है। कारागार प्रशासन पूरी मुश्तैदी से लगा हुआ है। शासन व जिला प्रशासन सहित जेल प्रशासन फूंक फूंक कर हर एक कदम उठा रहा है, ताकि किसी भी तरह की बदनामी का सामना न करना पड़े।  


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