जानलेवा हमला करने वाले नामजद आरोपी खुलेआम घूमते हैं,नहीं हैं कानून का भय
सरियापुर प्रधान राजुकमार यादव पर हुए हमले के मामले में एसओ जेठवारा को घटना के तीसरे दिन भी नहीं मिली तहरीर, जानलेवा हमले में तहरीर क न मिलना बड़ा सवाल खड़ा कर रहा है
थाना जेठवारा को नहीं मिली जानलेवा हमले की तहरीर... |
प्रतापगढ़। जिले में आम जनता के साथ ही ग्राम प्रधान भी सुरक्षित नहीं हैं। बेखौफ बदमाश दिन दहाड़े प्रधानों पर गोलियां बरसा रहे हैं। मुकदमा दर्ज होने के बाद भी अपराधी बेखौफ होकर खुलेआम घूम रहे हैं। पुलिस अपराधियों को गिरफ्तार कर सख्त कार्रवाई के बजाए रिश्तेदारी निभाने में मस्त है। सोमवार को दिन दहाड़े बाइक सवार तीन बदमाशों ने लक्षणपुर विकास खण्ड अंतर्गत आने वाली ग्राम पंचायत सरियापुर के प्रधान एवं सपा नेता राजकुमार यादव को गोली मार दी। गम्भीर दशा में उन्हें इलाज के लिए प्रयागराज रेफर कर दिया गया था। वहीं पुलिस हमलावरों की तलाश के नाम पर लकीर पीटने में जुटी हुई है। यह कोई पहली घटना नहीं है जब जिले में ग्राम प्रधान को अपराधियों ने निशाना बनाया हो। लगभग एक माह पूर्व ही प्रधान संघ के जिलाध्यक्ष एवं ग्राम प्रधान गोगौर नवीन कुमार सिंह उर्फ पिंटू सिंह के ऊपर विपक्षियों ने गोली चलाई थी।
सरियापुर ग्राम प्रधान राजकुमार यादव को गोली लगने के बाद जमा भीड़... |
हालांकि उस घटना में जिलाध्यक्ष अपने ड्राइवर समेत बाल-बाल बच गए थे। दो गोलियां कार के शीशे को भेदते हुए सीट में जा धंसी थी। मामले में जिलाध्यक्ष ने पुलिस को नामजद तहरीर दी। जांच पड़ताल के नाम पर मामले को टालते हुए बाघराय पुलिस मुकदमा भी दर्ज करने को तैयार नहीं थी। जब जिले के प्रधानों ने धरना प्रदर्शन की चेतावनी दी, तब कहीं जाकर उस मामले में मुकदमा दर्ज हो सका। घटना के लगभग एक माह बीतने के बाद भी पुलिस कोई सख्त कदम उठाना तो दूर आज तक एक भी आरोपी को गिरफ्तार नहीं कर पाई। सभी आरोपी बाघराय पुलिस के साथ रिश्तेदारी निभाते हुए आज भी खुलेआम घूम रहे हैं। साथ ही क्षेत्र की बाजारों और गाँव में घूम घूमकर अराजकता फैला रहे हैं। ऐसी दशा में किस तरीके से प्रधानों पर होने वाले हमलों पर अंकुश लगाया जा सकेगा ? यह समझ के परे है।
प्रधान संघ जिलाध्यक्ष पिंटू सिंह... |
इस मामले में प्रधान संघ जिलाध्यक्ष पिंटू सिंह ने कहा कि जिले की पुलिस बेलगाम हो चुकी है। जानलेवा हमले जैसी घटनाओं में नामजद होने के बाद भी अपराधी खुलेआम घूम रहे हैं। जब पुलिस प्रशासन ही सत्ता के दबाव में या बिरादरी वाद निभाएगा तो आम जनता को सुरक्षा कैसे मिलेगी ? जिलाध्यक्ष ने पुलिस प्रशासन को अल्टीमेटम देते हुए कहा कि यदि 24 घण्टे के भीतर आरोपियों की गिरफ्तारी नहीं की जाती तो जिले के प्रधान सभी विकास कार्यो को ठप करते हुए धरना प्रदर्शन करने को बाध्य होंगे। जिसकी पूरी जिम्मेदारी जिले की पुलिस और प्रशासन की होगी। वहीं सरियापुर प्रधान राजुकमार यादव पर हुए हमले के मामले में एसओ जेठवारा अभी तहरीर का इंतजार कर रहे हैं। विडम्मना है यह कि जब जानलेवा हमले में घायल सरियापुर ग्राम प्रधान राजकुमार यादव की तरफ से जेठवारा पुलिस को कोई तहरीर नहीं दी जायेगी तो मुकदमा कैसे दर्ज हो सकेगा ? आखिर पुलिस को तहरीर देने में तीन दिन क्यों बीत गए ? क्या सरियापुर ग्राम प्रधान राजकुमार यादव को जेठवारा पुलिस पर भरोसा नहीं है अथवा वह अपना बदला स्वयं लेना चाहते हैं, इसलिए मुकदमा नहीं लिखाना चाहते हैं।
भरोसा नहीं है तहरीर देने से कोई फायदा नहीं होगा जाति वाद की राजनीति है पत्रकार भी वही कर रहे हैं
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