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मंगलवार, 26 अक्तूबर 2021

प्रतापगढ़ में बदमाशों पर मेहरबान हुई पुलिस, प्रतापगढ़ की पुलिस अपराधियों को देती है, संरक्षण

वेशर्मी की सारी हदें पार करते हुए विवेचनाधिकारी हत्या और हत्या के प्रयास जैसे गंभीर अपराध में भी साक्ष्य के अभाव में लगा देते हैं,फाइनल रिपोर्ट 

पुलिस अधीक्षक सतपाल अंतिल की साख पर उन्हीं की टीम लगा रही,दाग...

जिले में अपराधियों के ऊपर पुलिस मेहरबान हो चुकी है। चुनिन्दा मामलों में वाहवाही लेने के लिए पुलिस कार्यवाही करती है। जिले के तेज तर्रार पुलिस कप्तान सतपाल अंतिल भी दलबल के साथ घटना स्थल पर परिक्रमा कर चुके हैं। आज तक एक भी अपराधी पुलिस की गिरफ्त में न आ सके। इस बात में कोई संदेह नहीं है कि जिले के पुलिस अधीक्षक सतपाल अंतिल एक अच्छी छवि के पुलिस ऑफिसर हैं। योगी सरकार द्वारा जिले के पुलिस कप्तान सतपाल अंतिल को पुरस्कार व सम्मान मिल चुका है परन्तु इन सबके बावजूद प्रतापगढ़ के पुलिस अधीक्षक सतपाल अंतिल की टीम अपराधियों पर अंकुश लगा पाने में फेल नजर आ रही है जानलेवा और हत्या के मामले में जब पुलिस बदमाशों को खोजने में विफल हो जाती है तो पीड़ित परिवार को बड़ी निराशा होती है 


कभी-कभी तो विवेचना अधिकारी खाक छानने के बाद अत्यंत ही वेशर्मी के साथ हत्या और हत्या के प्रयास के मामले में भी फाइनल रिपोर्ट लगा देती है हत्या के प्रयास में तो फाइनल रिपोर्ट लगाने के पीछे कारणों को एक बार सही भी मान लें, परन्तु हत्या के मामले में भी जब विवेचना अधिकारी फाइनल रिपोर्ट लगा देता है तो उस विवेचना अधिकारी की कर्तब्य निष्ठा पर संदेह उत्पन्न होना लाजिमी है क्योंकि हत्या में तो घटना को बनाया और रचा नहीं जाता यानि जब किसी ब्यक्ति की जान जाती है तो उस परिवार से उसका दर्द पूँछिये तब पता चलता है तीन सप्ताह बीत जाने के बाद भी जानलेवा हमले में शामिल एक भी बदमाश की गिरफ्तारी की बात छोड़िये उनकी शिनाख्त तक न हो सकी। जेठवारा थाना क्षेत्र में तीन सप्ताह पहले 4 अक्टूबर को सरियापुर गाँव के प्रधान पति राजकुमार यादव को बेखौफ बदमाशों ने घर से मील पर जाते समय गोली मार दी थी। 


जानलेवा हमले में घायल होने के बाद पीड़ित परिवार अपने घायल ब्यक्ति का इलाज कराने में दिनरात एक किये हुए है प्राप्त जानकारी के अनुसार उनका इलाज दिल्ली में चल रहा है और अभी तक उनकी स्थिति नाजुक बनी हुई उक्त मामले में जेठवारा पुलिस ने तीन दिन बाद अज्ञात बदमाशों के विरुद्ध मुकदमा दर्ज किया था और मुकदमा दर्ज होने में देर होने की वजह तहरीर का देर से मिलना बताया था। तीन सप्ताह बाद भी जेठवारा पुलिस के हाथ खाली हैं। आज तक बदमाशों का जेठवारा पुलिस सुराग तक न लगा सकी। परन्तु जिले के तेज तर्रार पुलिस कप्तान के संज्ञान में मामला होने के बावजूद भी एक भी बदमाशों की गिरफ्तारी नहीं हो सकी। सूबे की योगी सरकार के सपनों पर प्रतापगढ़ की पुलिस पानी फेर रही हैजिले की पुलिस भी अपराधियों पर मेहरबान हैजिले के तेज तर्रार पुलिस कप्तान सतपाल अंतिल भी मामले से सम्बंधित जानकारी न दे सके। 


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