पटना में इंजीनियर के घर पड़ा छापा, जिसमें मिला जेवर, 60लाख कैश, 30के करीब बैंक पासबुक, बीमा के 10पालिसी एवं जमीन के ढेर सारे बैनामें के कागजात
विजिलेंस की टीम ने दो वर्ष पूर्व पटना में पथ निर्माण विभाग के इंजीनियर और कैशियर को 14 लाख रुपए घूस लेते गिरफ्तार किया था। इसके बाद टीम ने इंजीनियर सुरेश प्रसाद सिंह के घर छापा भी मारा। इस दौरान टीम ने इंजीनियर के बिस्तर और सूटकेस से करीब 2.5करोड़ रुपए किए,बरामद...!!!
इंजीनियर के घर छापे के बाद मिली नगदी... |
पटना। आय से अधिक संपत्ति मामले में विजिलेंस टीम ने पथ निर्माण विभाग के कार्यपालक अभियंता रवींद्र कुमार के आवास पर शुक्रवार को छापा मारा, टीम वहां मिली बेहिसाब नकदी देखकर हैरान रह गई। पटना के पुनाइचक मोहल्ले में इंजीनियर के घर की तलाशी जारी है। सवाल उठता है कि सिसटम में बैठा ब्यक्ति जो घपला घोटाला, लूट खसोट करके इतनी संपत्तियां अर्जित करता है, वह यह भूल जाता है कि उसके ऊपर भी किसी की नजर है। उस समय वह धन संग्रह करने में पूरी तन्मयता से लगा रहता है। उसे आगे-पीछे कुछ भी दिखलाई नहीं पड़ता। जब आय से अधिक सम्पत्ति की छापेमारी की कार्यवाही होती है तो अक्ल ठिकाने आती है।
इंजीनियर के घर छापे में मिले इतने नोट कि गिनने के लिए मंगानी पड़ी मशीन... |
विजिलेंस विभाग के अधिकारियों का कहना है कि तलाशी में अब तक 60 लाख से अधिक कैश, जेवर, जमीन के 8-10 कागजात समेत अन्य सामानों की बरामदगी हुई है। कागजातों में 30 के करीब बैंक पासबुक, 10 पॉलिसी के कागजात समेत कई अन्य दस्तावेज मिले हैं। आखिर ये लूट खसोट और भ्रष्टाचार से कमाई गई अकूत सम्पत्ति जिसे छोड़कर यही चले जाना है, उस सम्पत्ति के लिए ब्यक्ति इतना पागल क्यों हो जाता है। कोरोना संक्रमण काल में सारी सम्पत्ति धरी की धरी रह गई और लोग अपनी जान नहीं बचा सके। फिर भी 90 फीसदी लोगों की आँखें नही खुली और वह आज भी लूट खसोट और भ्रष्टाचार में लीन हैं।
पहले घंटे की तलाशी में ही 60 लाख रुपये कैश और अन्य सामान मिले हैं। कैश मिलान के लिए बैंक से नोट गिनने की मशीन मंगवाई गई है। डीएसपी सर्वेश सिंह छापेमारी अभियान का नेतृत्व कर रहे हैं। उन्होंने बताया कि फिलहाल छापेमारी जारी है। नगद व अन्य चीजें बढ़ सकती हैं। बता दें कि पथ निर्माण विभाग के कार्यपालक अभियंता जो हाजीपुर में पदस्थापित रहा है। हाल ही में उसका स्थानांतरण पुल निर्माण निगम में हुआ है। बिहार में सुशासन बाबू की सुशासन की ऐसी पोल कार्यपालक अभियंता रवींद्र कुमार ने खोली की सबकी बोलती बंद हो गई। देश में भ्रष्टाचार लोगों के खून में समाहित हो चुका है। जब किसी ब्यक्ति के खून में भ्रष्टाचार समाहित होकर उसके शरीर में संचार होगा तो भ्रष्टाचार को खत्म करने की बात करना बेईमानी होगी।
कोई टिप्पणी नहीं:
एक टिप्पणी भेजें