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गुरुवार, 29 जुलाई 2021

प्रतापगढ़ जनपद में अंतु थाना और उदयपुर थाना क्षेत्र से माह जुलाई में दो बालिकाओं का अपहरण किया जाता है और दोनों अपहृत बालिकाओं का पुलिस अभी तक नहीं लगा सकी सुराग

उदयपुर थाना से दो नामजद और एक अज्ञात को गिरफ्तार करने के बाद पुलिस ने छोड़ा ! अंतु पुलिस ने भी संदिग्धों को गिरफ्तार करके छोड़ दिया ! पुलिस की निष्क्रिय कार्यप्रणाली से खफा हैं, अपहृत बालिकाओं के परिजन ! एक पखवारा बीत जाने के बाद भी पुलिस के हाथ खाली...!!!

अपहृतकर्ताओं के आगे प्रतापगढ़ की वेवश हुई पुलिस...

प्रतापगढ। उदयपुर थाना क्षेत्र के दलापट्टी गांव की एक नौ वर्षीय बालिका का अपहरण हुए पंद्रह दिन बीत जाने के बावजूद पुलिस कोई सुराग नही लगा सकी है, अपहृत बालिका के भाई की मुखबिरी पर तीन लोगों को पुलिस ने पकड़ने के बाद छोड़ दिया है। ऐसे ही एक प्रकरण थाना अंतु में भी प्रकाश में आया है। लोहंगपुर की एक नाबालिक छात्रा को घर से गायब हुए महीने भर से अधिक हो चुके हैं, परन्तु अंतु पुलिस नाबालिक लड़की के पिता की तहरीर पर नामजद मुकदमा दर्ज करने के बाद भी पुलिस उस आरोपी के गिरेबान पर हाथ नहीं डाल सकी। ब्लॉक प्रमुख चुनाव के चार दिन पहले की घटना में जिन्हें पुलिस पकड़ कर लाई थी, उसे बिना किसी नतीजे के छोड़ दी। अब आरोपी का पिता भी फरार हो चुका है। 


अपराधियों तक पहुँचने में पुलिस के तंत्र हुए फेल...

उदयपुर थाना क्षेत्र के दलापट्टी गांव की एक 9 वर्षीया बालिका 14 जुलाई की दोपहर में पड़ोसी गांव मुरैनी गयी थी। शाम तक जब बालिका लौटकर घर नही आयी तो परिजन परेशान हो गये। काफी खोजबीन के बाद बालिका की साइकिल पूरे लोका गांव में नदी के किनारे मिली। सगे सम्बंधियो के यहां भी पता किया लेकिन कोई सुराग नही लगा। बालिका की मां जानकी देवी ने गांव के चार लोगों को नामजद करते हुए उदयपुर थाने में अपहरण का मामला दर्ज कराया है। पुलिस अधीक्षक ने भी मामले को गम्भीरता से लेते हुए मामले की जांच की और पुलिस टीम गठित कर आरोपियों को गिरफ्तार करने व अपहृत बालिका को बरामद करने का आदेश दिया लेकिन पुलिस दिल्ली तक खाक छान कर लौट आयी।

पुलिस महकमें में दिखाने के लिए होती है,क्राइम मीटिंग...

अपहृत बालिका के भाई की मुखबिरी पर उदयपुर पुलिस ने 17 जुलाई को अमेठी से दो नामजद और एक अज्ञात को गिरफ्तार किया था। पुलिस ने उसी दिन एक नामजद व्यक्ति को छोड दिया और बारह दिन तक दो व्यक्ति को थाने में बैठाये रखने के बाद 29 जुलाई को छोड़ दिया। अपहृत बालिका के भाई का कहना है कि पुलिस की कार्यप्रणाली समझ के परे है। जब थाने जाता हूँ तो पुलिस कहती है सिनाख्त बताओ तो गिरफ्तार करुं। अपहृत बालिका के भाई का आरोप है कि पुलिस की निष्क्रियता के कारण मामले का खुलासा नही हो पा रहा है। दूसरी ओर अपहृत बालिका के परिजन अनहोनी की आशंका से भयभीत है। उन्हें आशंका है कि कहीं उनकी बेटी की हत्या तो नही कर दी गई है। फिलहाल पुलिस क्या मामले का खुलासा कर पायेगी या नही यह तो समय ही बतायेगा।


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