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बुधवार, 24 जून 2020

खाकी वर्दी के भेष में छिपे हैं समाज के विध्वंसक पुलिस के जवान जिनके बिगड़ चुके हैं,बोल

नाम चिन्नी प्रसाद और मिठाई गुड़ की तरह भी नहीं...

मानसिक दिवालियापन का शिकार है,दरोगा हरिभजन गौतम... 

प्रतापगढ़ जनपद में ब्राह्मणों के प्रति नफरत की सोच रखने वालों की लिस्ट अभी खत्म नहीं हुई है जिले में ब्राह्मण व सवर्ण विरोधी अफसरों के दिलोदिमाग में आखिर ये जाति विरोधी धारणा कहाँ से आती है ? इतनी नफरत उनकी जेहन में क्यों पैदा हुई ? सवाल उठता है कि ऐसी मानसिकता वाला ब्यक्ति निष्पक्ष रहकर कैसे काम कर सकता है जिसके दिलोदिमाग में ऐसी घटिया सोच का प्रवाह होता हो ! 

ताज्जुब इस बात का होता है कि सबकुछ जानने के बाद भी ऐसी संकीर्ण विचारधारा के अफसर पर सर्व समाज में न्याय दिलाने की जिम्मेवारी फिर से दे दी जाती है। अब ऐसी विचारधारा वाले अफसरों पर स्थानांतरण और निलम्बन से काम नहीं चलेगा बल्कि इस इन्हें इसका एहसास तब होगा जब इनके पद से इनकी बर्खास्तगी होगी। साथ ही इन पर समाज में जातीय संतुलन बिगाड़ने के खिलाफ मुकदमा लिखकर इन्हें सलाखों के पीछे धकेलना होगाजिससे सन्देश दूरगामी हो अन्यथा कहना होगा देश खतरे में है। ब्राह्मणों को ऐसा सोचने के लिए इसलिए विवश होना पड़ा, क्योंकि एक के बाद दूसरे के मन में चल रहे जाति विरोधी ज़हर देखने व सुनने को मिल रहा है

सोशल मीडिया पर थाना जेठवारा के प्रभारी निरीक्षक विनोद कुमार यादव का फरियादी के सूचना देने पर उसको अभद्रता पूर्वक गाली देने व जाति विशेष के खिलाफ गलत टिप्पड़ी  का आडियो वायरल हुआ। बता दें कि प्रभारी निरीक्षक विनोद कुमार यादव को पुलिस अधीक्षक प्रतापगढ़ अभिषेक सिंह प्रथम दृष्टया दोषी मानते हुए लाइन हाजिर किया गया और  इसकी जांच एएसपी दिनेश दुबे को सौंप दी गयी जांच में आडियो की पुष्टि होने पर तत्काल प्रभाव से विनोद कुमार यादव को निलंबित कर दिया गया है। बता दें कि जेठवारा थानाध्यक्ष विनोद कुमार यादव का ऑडियो सोशल मीडिया पर  तेजी से वायरल हुआ था, जिसमें वे फरियादी को न सिर्फ मां बहन की गालियां देते हुए सुनाई पड़ रहे थे, बल्कि उसे जाति सूचक शब्दों से भी बखान रहे थे..."
जनपद प्रतापगढ़ के लालगंज में तैनात दरोगा हरिभजन गौतम ने ब्राम्हणों को सोशल मीडिया के व्हाट्सएप ग्रुप पर सार्वजानिक तौर पर अपमानित करते हुए समाज में ब्याप्त सभी कुरीतियों और खामियों का जिम्मेवार माना है। हरिभजन गौतम पहले जेठवारा में तैनात थे। व्हाट्सएप ग्रुप पर इन्होंने अपने ज्ञान की परिपक्वता को परिभाषित किया है। इनके कृत्यों की जाँच होनी चाहिए। इन्हें लाइन हाजिर करने अथवा इनका निलम्बन करने मात्र से इनमें सुधार नहीं आने वाला कुछ दिन पहले थानाध्यक्ष जेठवारा विनोद कुमार यादव ने ब्राह्मण समाज को गालियां दी थी, जिस पर प्रतापगढ़ के ब्राह्मण समाज ने जबरदस्त विरोध किया। 

रानीगंज के युवा विधायक धीरज ओझा ने प्रकरण को संज्ञान में लेकर गालीबाज इंस्पेक्टर विनोद यादव को बर्खास्त करने के लिए मुख्यमंत्री को पत्र तक लिखा था।सूबे में ब्राह्मणों के प्रति नफरत की सोच रखने वाले अफसर लगातार सामने आ रहे हैं समाज में ब्राह्मण समाज को जिस तरह टारगेट किया जा रहा है, वो चिंताजनक है। जिले के लालगंज थाने में तैनात दरोगा ने एक बार पुन: जता दिया है कि कुछ कुंठित लोग जो आरक्षण के जरिये सरकारी नौकरी में आ गए, जबकि उनमें उस पद को पाने की योग्यता नहीं थी, परन्तु आरक्षण रूपी अस्त्र ने उन्हें वो पद दिलाकर उनका दिमाग सांतवें आसमान पर चढ़ा रखा है। कुछ पढ़कर लिखकर सिस्टम में आ जाने से कोई ज्ञानी नहीं हो जाता। यदि उसकी मानसिकता पढ़ाई के पीरियड में कुंठित हो गई हो तो आजीवन वो सही नहीं हो सकती। चूँकि अल्प ज्ञान जानलेवा होता है

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