जानकार बताते थे कि भाजपा इस बार किसी सामान्य कार्यकर्ता को देगी टिकट,पर खोदा पहाड़ निकली चुहिया वाली कहावत चरितार्थ की है,भाजपा शीर्ष नेतृत्व...!!!
प्रतापगढ़। कांग्रेस की तरफ से राजकुमारी रत्ना सिंह जो राज घराने से आती हैं और क्षत्रिय परिवार से हैं। जनसत्ता दल लोकतांत्रिक की तरफ से कुँवर अक्षय प्रताप सिंह "गोपाल जी" व बसपा-सपा-रालोद गठबंधन से ब्राह्मण उम्मीदवार के बीच भारतीय जनता पार्टी ने भाजपा अपना दल एस गठबंधन से मौजूदा प्रतापगढ़ सदर विधायक संगम लाल गुप्ता को भाजपा ने टिकट देकर दिया प्रतापगढ़ की राजनीति में बैकवर्ड ट्रम्प कार्ड खेला है। विधायक संगम लाल गुप्ता की भाजपा अमित शाह से नजदीकियां पुनः सिद्ध हुई कि कोई कुछ भी दावे कर ले परंतु सम्बन्धों का फायदा तो मिलता ही है। विधायक संगम लाल गुप्ता का 1000% दावा वाली बात सच निकली। संगम लाल गुप्ता कहते थे कि टिकट तो उनकी जेब में रखा है। भाजपा ने भले ही अपना दल एस गठबंधन से प्रतापगढ़ को मुक्त कर दिया था,पर संगम लाल गुप्ता तनिक भी निराश नहीं हुए।
कानून के जानकारों का मानना था कि अपना दल एस के सिम्बल कप प्लेट से वर्ष 2017 में 248-प्रतापगढ़ सदर से चुनाव जीतने वाले संगम लाल गुप्ता को भाजपा उम्मीदवार बनाने से पहले भाजपा की सदस्यता दिलानी होगी तभी संगम लाल गुप्ता को भाजपा अपना उम्मीदवार बनाकर 39-प्रतापगढ़ संसदीय सीट से अपने सिंबल कमल के फूल से चुनाव लड़ा सकेगी। आज की तिथि तक संगम लाल गुप्ता जब अपना दल एस के राष्ट्रीय सचिव हैं और अपना दल एस के सिंबल से 248-प्रतापगढ़ सदर से विधायक हैं तो लोकसभा संसदीय सीट 39-प्रतापगढ़ से भाजपा के सिंबल से नामांकन कैसे करेंगे ? क्या नामांकन से पूर्व अपना दल एस के राष्ट्रीय अध्यक्ष आशीष सिंह संगम लाल गुप्ता को दल बदल कानून के तहत पार्टी से निष्कासित करेंगे ? क्या विधायक संगम लाल गुप्ता की विधान सभा सदस्यता सस्पेंड होगी ? यदि संगम लाल गुप्ता चुनाव में बाजी मारते हैं तो प्रतापगढ़ सदर विधानसभा में उप चुनाव होना भी तय है। क्या उस वक्त भाजपा और अपना दल एस के बीच गठबंधन के तहत टिकट अपना दल एस के खाते में रहता है।
यदि अपना दल एस के खाते में टिकट रहता है तो उप चुनाव में विधायक संगम लाल गुप्ता के अनुज दिनेश गुप्ता प्रबल दावेदार होंगे। साथ ही भाजपा यदि उप चुनाव में प्रतापगढ़ की सीट पर अपने सिम्बल पर चुनाव लड़ाती है तो भी भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह संगम लाल गुप्ता पर मेहरबान होकर भाजपा से भी संगम लाल गुप्ता के अनुज दिनेश गुप्ता पर विश्वास जगाते हुए उन्हें टिकट दिया जा सकेगा। ऐसे में भाजपा के अंदर बगावत होना तय है। भाजपा में स्वर्ण लॉबी संगम लाल गुप्ता को किसी भी कीमत पर लोकसभा की चुनावी बैतरणी पार नहीं होने देंगी। भाजपा का शीर्ष नेतृत्व भले ही संगम लाल गुप्ता को पिछड़ी जाति का ट्रम्प कार्ड बनाकर चाल चली है,परन्तु उनकी राह आसान न होगी। अगड़ी जातियों के विरोध से भाजपा के शीर्ष नेतृत्व का सपना धराशायी हो सकता है। संगम लाल गुप्ता के सामने भाजपा के टिकट से बुरी तरह शिकस्त खाये हुए नेताओं और उनके समर्थकों को एकजुट करना और उनकी नाराजगी को दूर करना बड़ी चुनौती होगी। भाजपा के शीर्ष नेतृत्व का पिछड़ी जाति के ट्रंपकार्ड का सियासी दांव कहीं उल्टा न पड़ जाए...!!!
अबकी बार मोदी सरकार , वोट फार मोदी जी ,मोदी को जिताओ देश बचाओ
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